स्वामी विवेकानंद की जयंती पर आज देश 'राष्ट्रीय युवा दिवस' भी मना रहा है। हम युवा देश के तौर पर दुनिया के फलक पर उभर रहे हैं। हर देश का भविष्य निश्चित रूप से युवा पीढ़ी पर निर्भर करता है। अर्थात आप कह सकते हैं कि जितना बड़ा आपका संघर्ष होगा जीत उतनी ही शानदार होगी।
लोकतंत्र हमारे संस्कारों और विचारों में समाहित हैं और इसे सशक्त बनाने में युवाओं की सक्रिय भागीदारी भारत की समृद्धि और प्रगति के पथ पर आगे बढ़ने के लिए जरूरी है। आज 12 जनवरी को स्वामी विवेकानंद जयंती और युवा दिवस पर आप सभी को हार्दिक शुभकामनाएं।
"उठो और जागो और तब तक रुको नहीं जब तक कि तुम अपनी मंजिल प्राप्त नहीं कर लेते।" आज का दिन युवाओं का दिन है और स्वामी विवेकानंद की ये चंद पंक्तियां युवाओं पर सटीक बैठती हैं जिन्होंने उनके इस संदेश को साकार किया।
सच्ची सफलता और आनंद का सबसे बड़ा रहस्य यह है कि कुछ नहीं मांगा जाए। पूर्ण रूप से नि:स्वार्थ व्यक्ति ही सबसे सफल है। स्वामी विवेकानंद के आदर्श और विचारों के सम्मान में उनकी जयंती 'राष्ट्रीय युवा दिवस' के रूप में 1985 से मनाई जाती है। आज 35.6 करोड़ युवा है भारत में और दुनिया में अपना भारत सबसे ज्यादा युवाओं वाला देश है।
स्वामी विवेकानंद ने 1893 में 30 वर्ष की आयु में शिकागो में हुए धर्म सम्मेलन में भारतीय अध्यात्म का लोहा पूरे विश्व में मनवा दिया था। इस भाषण के माध्यम से भारत को सार्वभौमिक पहचान दिलवाने स्वामी जी के बारे में गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर ने कहा था- "यदि आप भारत को जानना चाहते हैं तो विवेकानंद को पढ़िए। उनमें आप सब कुछ सकारात्मक पाएंगे, नकारात्मक कुछ भी नहीं।"
'जोश के साथ होश' के उद्घोषक महान राष्ट्रीय संत स्वामी विवेकानंद जी को स्वतंत्रता के 'अमृत महोत्सव' में शत-शत- नमन।
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